
किसानों के बाद अब डॉक्टर्स भी हड़ताल की राह पर
नयी दिल्ली: आयुर्वेद के चिकित्सकों को सर्जरी की अनुमति देने वाले सरकार के फैसले के खिलाफ निजी अस्पतालों की ओपीडी सेवायें आज बाधित रहीं और कई सरकारी अस्पतालों के डॉक्टरों ने हाथ में काली पट्टी बांधकर काम किया और इस देशव्यापी हड़ताल को अपना समर्थन दिया। यह देशव्यापी हड़ताल आज सुबह छह बजे से शाम
नयी दिल्ली: आयुर्वेद के चिकित्सकों को सर्जरी की अनुमति देने वाले सरकार के फैसले के खिलाफ निजी अस्पतालों की ओपीडी सेवायें आज बाधित रहीं और कई सरकारी अस्पतालों के डॉक्टरों ने हाथ में काली पट्टी बांधकर काम किया और इस देशव्यापी हड़ताल को अपना समर्थन दिया। यह देशव्यापी हड़ताल आज सुबह छह बजे से शाम छह बजे तक की थी।
दरअसल आयुर्वेदिक चिकित्सा पद्धति के जरिये उपचार करने वाले चिकित्सकों को कई तरह के ऑपरेशन करने की अनुमति देने वाले सरकारी फैसले के खिलाफ Indian Medical Association (IMA) ने इस देशव्यापी हड़ताल का आह्वान किया था । केंद्र सरकार ने हाल ही में अधिसूचना जारी की थी कि आयुर्वेद में पोस्ट ग्रेजुएशन करने वाले डॉक्टर अब 58 तरह की सर्जरी सीख सकते हैं और स्वतंत्र रूप से इसकी प्रैक्टिस भी कर सकते हैं।
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आईएमए ने नीति आयोग द्वारा समितियों के गठन पर भी आपत्ति जताते हुए कहा है कि इन समितियों से सिर्फ मिक्सोपैथी को प्रोत्साहन मिलेगा। आईएमए सर्जरी की अनुमति देने वाली अधिसूचना वापस लेने और समितियों को भंग करने की मांग कर रहा है। आईएमए का कहना है कि चिकित्सा की सभी पद्धतियों को अपने अनुसार विकसित होने का अधिकार है।
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