मुम्बई: अधिकतर विदेशी बाजारों से मिले कमजोर संकेतों के बीच बैंकिंग, वित्त और धातु समूहों में हुई भारी बिकवाली के दबाव में बुधवार को बीएसई का 30 शेयरों वाला संवेदी सूचकांक सेंसेक्स 599.64 अंक लुढ़ककर 40,000 अंक के मनोवैज्ञानिक स्तर के नीचे 39,922.46 अंक पर और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी 159.80 अंक फिसलकर 11,729.60 अंक पर बंद हुआ।
बाजार विश्लेषकों के मुताबिक यूरोप में कोरोना संक्रमण के ताजा मामले बढ़ने से जर्मनी और फ्रांस में दोबारा लॉकडाउन लगाने की संभावना बढ़ गयी है जिससे आर्थिक परिदृश्य को लेकर निवेशक आशंकित हो गये हैं। यूरोपीय बाजारों में ऑटो और बैंकिंग क्षेत्र में बिकवाली का दबाव रहा जिससे यूरोपीय शेयर बाजार गिरावट में खुले। एशियाई बाजारों में लेकिन मिश्रित रूख रहा। खुदरा निवेशकों के रूझान से दक्षिण कोरिया का शेयर बाजार शुरूआती गिरावट से उबरने में कामयाब रहा और हरे निशान में बंद हुआ।
विश्लेषकों का कहना है घरेलू बाजार में निवेशक कमजोर वैश्विक संकेतों को देखकर हतोत्साहित रहे। बीएसई में पूंजीगत वस्तु और दूरसंचार क्षेत्र के अलावा सभी क्षेत्र में बिकवाली हावी रही। सेंसेक्स की 30 में से मात्र चार कंपनियां हरे निशान में जगह बना पायीं और निफ्टी की भी 50 कंपनियों में से मात्र नौ तेजी में रहीं।