देश के विशाल सड़क मार्ग में फैले राष्ट्रीय राजमार्ग के जाल सभी राहगीरों को उनके गंतव्य तक पहुॅचाने में महत्वपूर्ण किरदार निभाते है। लेकिन मानसून के मौसम में होने वाली बारिश और सड़कों के गड्डे आपकी मजेदार यात्रा को खराब कर सकते है। यात्रियों का इस समस्या का समाधान करने के लिए नेशनल हाईवे अथॉरिटी ने बारिश से पहले सभी राष्ट्रीय राजमार्गों की मरम्मत करने के निर्देश दिये है।
राष्ट्रीय राजमार्गों को मरम्मत-रहित और यातायात योग्य स्थिति में रखने के लिए, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) ने अपने क्षेत्रीय अधिकारियों और परियोजना निदेशकों को निर्देश दिए हैं कि वे बरसात के मौसम को ध्यान में रखते हुए उच्च प्राथमिकता के आधार पर राष्ट्रीय राजमार्गों के रख-रखाव का कार्य करें। इसका उद्देश्य समय पर कार्य करना और राजमार्ग को मानसून के मौसम से पहले यानी 30 जून, 2020 तक यातायात के योग्य बनाना है।
एनएचएआई के क्षेत्रीय अधिकारियों को रख-रखाव गतिविधियों के बारे में तेजी से निर्णय लेने के लिए पर्याप्त वित्तीय अधिकार दिए गए हैं। परियोजना निदेशकों को सलाह दी गई है कि वे विभिन्न राजमार्गों की दुर्गति (जैसे गड्ढों, लीक करने और दरार आदि) की पहचान के लिए कार माउंटेड कैमरा/ड्रोन/नेटवर्क सर्वेक्षण वाहन (एनएसवी) आदि के जरिये प्रौद्योगिकी संचालित उपकरणों की सहायता से राजमार्गों की स्थिति का आकलन करें और उसके बाद सुधार की योजना तैयार करें।
सभी क्षेत्र अधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि वे समयसीमा का पालन करें, नियमित रूप से रख-रखाव के काम की प्रगति की निगरानी करें और नियमित अंतराल पर प्राधिकरण को रिपोर्ट करते रहें।
एनएचएआई मुख्यालय अपने प्रोजेक्ट मैनेजमेंट सॉफ्टवेयर- डेटा लेक के जरिये प्रगति की बारीकी से निगरानी करेगा, जहां मरम्मत संबंधी अन्य जानकारी के अलावा मरम्मत कार्यों से पहले और बाद की तस्वीरें अपलोड की जाएंगी।